कोलारस - मंगलवार की देर शाम तक लोकसभा चुनावों का फायनल रिजल्ट जैसे ही सामने आया लोगो को लगा कि केन्द्र में स्पष्ट बहुमत की सरकार जो 10 वर्ष तक देखने को मिली अब नहीं मिलने वाली क्योंकि 272 बहुमत के आंकड़े से भाजपा काफी पीछे रह गई और जैसे तैसे सहयोगी दलों को मिलाकर एनडीए का आंकड़ा 290 के आस पास पहुंचा केन्द्र में स्पष्ट बहुमत की सरकार न बनने से विकास कार्यो में रूकाबट देखने को मिल सकती है जिसके चलते मध्यप्रदेश में 29 में से 29 लोकसभा सीटें जीतने के साथ - साथ प्रदेश के तीन सांसदों के रिकॉर्ड बनाने के बाद भी भाजपा कार्यकर्ताओं से लेकर समर्थकों के चेहरों पर खुशी की जगह मायूसी देखने को मिली।
मंगलवार को लोकसभा चुनाव के परिणाम आने के बाद मध्यप्रदेश में तीन सांसद ऐसे चुनाव जीतकर लोकसभा तक पहुंच रहे है जिन्होंने जीत के मामले में रिकॉर्ड कायम किया है उनमें पहले नम्बर पर इंदौर से सांसद शंकर लालवानी जिन्होंने बसपा प्रत्याशी को करीब 11 लाख 75 हजार से भी अधिक मतों से चुनाव हराकर प्रदेश से लेकर देश में रिकॉर्ड बनाया है इंदौर में कांग्रेस प्रत्याशी द्वारा नामांकन फार्म बापिस लेने के चलते भाजपा प्रत्याशी शंकर लालवानी का चुनाव बसपा के उम्मीदवार से हुआ जिसमें लालवानी ने प्रदेश ही नहीं बल्कि देश में जीत के मामले में अभी तक प्रथम रिकॉर्ड कायम किया है दूसरी प्रदेश की बड़ी जीत पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की रही जिन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी को 8 लाख 21 हजार के करीब मतों से शिकस्त देकर प्रदेश ही नहीं बल्कि जीत के मामले में देश में रिकॉर्ड कायम किया तीसरी बड़ी जीत गुना लोकसभा क्षेत्र से ज्योतिरादित्य सिंधिया की रही जिन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी को 5 लाख 40 हजार के करीब मतों से जीत हासिल की देश में बड़ी लीड लेने वाले नेताओं की बात करे तो 5 लाख से भी अधिक मतों से जीतने वाले टॉप टेन नेताओं में मध्यप्रदेश के तीन नेताओं ने अपना नाम दर्ज कराया बड़ी जीत के मामले में ग्रहमंत्री अमित शाह का भी नाम शामिल है किन्तु वह मध्यप्रदेश की जगह गुजरात से चुनाव जीते है मध्यप्रदेश में 29 में से 29 लोकसभा सीटें जीतने तथा बड़ी जीत दर्ज करने के बाद भी केन्द्र में स्पष्ट बहुमत न मिल पाने का दर्द भाजपा कार्यकर्ताओं से लेकर समर्थकों में देखने को मिला।